पिछले हफ्ते कांग्रेस की यूथ विंग नेशनल स्टूडेंट्स यूनियन ऑफ इंडिया (NSUI) के सदस्यों ने कर्नाटक के स्कूली किताबों के कथित भगवाकरण के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया था. कर्नाटक के शिक्षा मंत्री बीसी नागेश के आवास के बाहर आरएसएस की यूनिफार्म यानी खाकी निक्कर को जलाया गया. इस मामले में 14 कांग्रेस कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार किया गया था. क्योंकि बीसी नागेश ने दावा किया था कि एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं ने उनके घर में घुसकर कपड़ों को आग लगाई.
इस मामले पर कांग्रेस नेता और कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने कहा था कि BJP सरकार ने जबरदस्ती इस मामले को तूल दिया. हम लोगों ने एक निक्कर जलाया था लेकिन अब हम चड्डी जलाओ अभियान की शुरुआत करेंगे. कांग्रेस नेता की इस धमकी के बाद कर्नाटक में चड्डी विवाद अपने चरम पर पहुंच गया है.
कांग्रेस के नेता और कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया इस मामले में आरएसएस को घसीट लाए थे. उन्होंने कहा था कि R.S.S. में आज तक संघ प्रमुख के पद पर कोई दलित, ओबीसी या फिर अल्पसंख्यक समुदाय का व्यक्ति नहीं बैठा है. जिसके बाद कर्नाटक के मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने कहा कि R.S.S. को कांग्रेस बदनाम करने का अभियान चला रही है. जनता सब जानती है, आरएसएस एक देशभक्त और राष्ट्रवादी संगठन है जो समाज सेवक के काम में जुटा है.
वही बीसी नागेश ने कहा कि कर्नाटक में कांग्रेस के पास बीजेपी सरकार के खिलाफ कोई मुद्दा नहीं है, जिसके चलते कांग्रेस कर्नाटक में चड्डी विवाद को जन्म दे रही है. आपको बता दें कि सारा विवाद स्कूल. किताब में बदलाव से शुरू हुआ था. बीजेपी सरकार की ओर से बनाई गई रिव्यू कमेटी ने कथित रूप से मैसूर के राजा टीपू सुल्तान, क्रांतिकारी भगत सिंह, समाज सुधारक बसवन्ना, द्रविड़ मूवमेंट चलाने वाले पेरियार और समाज सुधारक नारायण गुरु से जुड़े पाठ्यक्रम को स्कूली किताबों से निकाल दिया है.
साथ ही इस बात का भी आरोप लगाया गया है कि कवि कुव्हेंपू के बारे में तथ्यों से भी छेड़छाड़ की गई है. हालांकि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के संस्थापक केशव बलिराम हेडगेवार के चैप्टर को स्कूली किताबों में जोड़ दिया गया है. स्कूली किताबों के पाठ्यक्रम में हुए बदलाव को लेकर कर्नाटक के मुख्यमंत्री का कहना है कि अगर किसी आपत्तिजनक विषय को सामने लाया जाएगा तो उसकी समीक्षा की जाएगी. हम किताबों को फिर से छपवा देंगे.
आपको बता दें कि आरएसएस और कांग्रेस के बीच वैचारिक लड़ाई लंबे समय से चल रही है. कांग्रेस के नेता आरएसएस को घेरने का कोई मौका नहीं छोड़ते हैं और यह लड़ाई अब राजनीति रूप ले चुकी है. पिछले 8 साल से मोदी सरकार बनने के बाद से कांग्रेस आरोप लगाती रही है कि मोदी सरकार शिक्षा व्यवस्था के साथ खिलवाड़ कर रही है, गलत इतिहास परोस रही है.